उन्माद आलम के गले लग कर उन्मादी हो रहा था.. रात गा रही थी। उन्माद आलम के गले लग कर उन्मादी हो रहा था.. रात गा रही थी।
और एक बार पीछे मुड़के, "फुदकती कठपुतलियों" को अफ़सोस से देखने लगी। और एक बार पीछे मुड़के, "फुदकती कठपुतलियों" को अफ़सोस से देखने लगी।
शहर में दम-सा घुटने लगा है, आओ!चलें अब गांव की ओर। शहर में दम-सा घुटने लगा है, आओ!चलें अब गांव की ओर।
नये साल का टार्गेट जो फ़िक्स करना हैं क्योंकि आज तारीख इकत्तीस हैं l नये साल का टार्गेट जो फ़िक्स करना हैं क्योंकि आज तारीख इकत्तीस हैं l
मतलब हमारी राजकुमारी अभी हमारे पास ही रहेगी मतलब हमारी राजकुमारी अभी हमारे पास ही रहेगी
कभी गाड़ी में मिले तो उचित प्रयास अवश्य ही करने चाहिए। ये इंसानी धर्म भी है । कभी गाड़ी में मिले तो उचित प्रयास अवश्य ही करने चाहिए। ये इंसानी धर्म भी है ।